पेन ड्राइव क्या है और इसके क्या क्या उपयोग हैं? Pen Drive in Hindi
दोस्तों क्या आप जानते हैं कि पेन ड्राइव क्या है? पेन ड्राइव के क्या क्या उपयोग है? साथ ही क्या आप जानते हैं कि पेन ड्राइव कैसे काम करता है? बहुत से लोग अपने डॉक्यूमेंट और फाइल को एक जगह से दूसरी जगह ट्रांसफर करने के लिए पेनड्राइव का इस्तेमाल करते होंगे। Pen Drive को Flash Drive भी कहते हैं। दोस्तों आज हम इसी छोटी सी पेन ड्राइव के विषय में बात करने वाले हैं।
पहले लोग storage device जैसे कि floppy disk का इस्तेमाल करते थे। जो कि बहुत ही कम डाटा को स्टोर कर पाती थी और इसके read और write ऑपरेशन भी बहुत ज्यादा slow थे। लेकिन टेक्नोलॉजी के विकास से आप लोगों के बीच पेन ड्राइव आ गया है। दूसरे स्टोरेज डिवाइस की तुलना में पेन ड्राइव बहुत ज्यादा फास्ट और अधिक स्टोरेज को स्टोर करता है। पेनड्राइव को इस्तेमाल करना भी बहुत आसान है। आपको केवल कंप्यूटर के USB Port में पेन ड्राइव को Insert करना होता है और यह सभी operating system के साथ compatible होता है। पेनड्राइव को हम कहीं भी बहुत आसानी से ले जा सकते हैं।
दोस्तों आज के इस आर्टिकल में हम बात करेंगे पेनड्राइव से रिलेटेड सभी जानकारियों के बारे में जैसे कि पेन ड्राइव क्या है? यह कैसे काम करता है?
पेन ड्राइव क्या है
पेन ड्राइव एक ऐसा स्टोरेज ड्राइव है जिसका इस्तेमाल files को Transfer करने के लिए किया जाता है। इसको Commonly USB Flash Drive भी कहा जाता है। यह एक Portable device है। इसका मतलब है कि इसे आसानी से ट्रांसफर किया जा सकता है एक लोकेशन से दूसरे लोकेशन तक। इसका डिजाइन बहुत ही compact होता है और यह Pen Shape की तरह दिखाई देता है। इसलिए इसे हम पेन ड्राइव कहते हैं।
पेनड्राइव को पूरी दुनिया में बहुत सी जगह पर लोग इस्तेमाल करते हैं। Pen Drive ने बहुत सारे स्टोरेज डिवाइस जैसे कि CD’s, Floppy Disk को आसानी से रिप्लेस कर दिया है। क्योंकि यह Data Storage Capacity और Transferring Speed में उनसे ज्यादा तेज है। Pen Drive या USB Flash Drive को USB (Universal Serial Bus) Port के द्वारा कंप्यूटर में कनेक्ट किया जाता है, जो कि Computer motherboard पर available होते हैं। इसको External Power Supply की जरूरत ही नहीं है क्योंकि यह Power directly USB Port से ही लेता है।
यह Micro, Lightweight और Handy होने के कारण इसे आसानी से Carry किया जा सकता है। यह एक जगह से दूसरी जगह तक किसी भी Student, Professionals, Academician और Independent Tech Consultants के द्वारा Carry किया जा सकता है। पेनड्राइव का इस्तेमाल मुख्य रूप से डाटा स्टोर करने के लिए और ट्रांसफर करने के लिए किया जाता है। इसके द्वारा एक कंप्यूटर से दूसरे कंप्यूटर में ऑडियो, वीडियो और दूसरे डाटा फाइल को आसानी से ट्रांसफर किया जा सकता है। जब तक डेस्कटॉप और लैपटॉप में यूएसबी पोर्ट है और यह पेनड्राइव ऑपरेटिंग सिस्टम के साथ compatible है तब तक पेनड्राइव का इस्तेमाल होता रहेगा।
Pen Drive की खोज किसने की?
यूएसबी फ्लैश ड्राइव और फ्लैश मेमोरी का ही चर्चित नाम पेनड्राइव है। जरा सी पेन ड्राइव को अब एक टीवी (टेरा बाइट) तक डाटा स्टोर करने में सक्षम बनाया जा चुका है और दो टीवी की पेनड्राइव बनाने की तैयारी हो रही है। दुनिया की पहली पेनड्राइव किसने बनाई है? अब भी विवाद का विषय है। माना जाता है कि यूएसबी फ्लैश ड्राइव का अविष्कार इजरायली कंपनी के आमिर बैन, डॉव मोरन और ओरॉन ऑगदन ने अप्रैल 1999 में किया था। उन्होंने अमेरिकी पेटेंट के लिए आवेदन भी किया था। हालांकि उनके पेटेंट में पेन ड्राइव की परिभाषा में एक केवल का उल्लेख भी था। जिसे हम पेनड्राइव के रूप में पहचानते हैं, उसका पेटेंट 1999 में आईबीएम कंपनी ने लिया था।
Pen Drive की Storage Capacity और Format
पेन ड्राइव के इस्तेमाल होने से पहले Floppy Disk, CD और DVDs का इस्तेमाल होता था। यह स्टोरेज डिवाइस बड़े हुआ करते थे और इसमें स्टोरेज स्पेस भी बहुत कम थी। इन्हीं समस्याओं को दूर करने के लिए यूएसबी पेन ड्राइव को डिवेलप किया गया। अभी के समय की बात करें तो फिलहाल इससे फास्ट पोर्टेबल स्टोरेज मीडियम मौजूद नहीं है। डाटा रिकॉर्डिंग और रीडिंग करने के लिए और इसकी बहुत सी खासियत होने के कारण यह बहुत ही जल्द पॉपुलर हो गया था।
यह माना जाता है कि इसका नाम “Pen Drive” इसलिए पड़ा है क्योंकि पेनड्राइव एक पेंसिल की तरह दिखाई देती है। इसकी Storage Capacity अभी के समय में 1GB से लेकर 128GB तक है और यह बहुत से Shape और Size में उपलब्ध है।
पेन ड्राइव की विशेषताएं ( Characteristics Of Pen Drive)
पेनड्राइव की बहुत सारी विशेषताएं हैं, जिनका विवरण हम ने नीचे एक एक करके दिया है-
Transfer files
पेन ड्राइव के द्वारा फाइल जैसे कि डॉक्यूमेंट, फोटोस, MP3 इत्यादि को एक स्थान से दूसरे स्थान तक ट्रांसफर किया जाता है। आपको केवल फाइल्स को सेलेक्ट करना है और ट्रांसफर कर देना है।
Backup Storage
सभी पेन ड्राइव्स में पासवर्ड इंक्रिप्शन फीचर्स होते हैं, जिससे महत्वपूर्ण फैमिली इनफॉरमेशंस, मेडिकल रिकॉर्ड्स, और फोटोस को बैकअप किया जा सकता है।
Promotional Tool
बहुत सी कंपनीज एंड बिजनेसमैन इन पेनड्राइव का इस्तेमाल अपने सेल्स को प्रमोट करने के लिए कहते हैं। जिससे कि यह उनके मार्केटिंग एजेंट्स को लोगों तक पहुंचा सके। इन Pen Drives में Corporate Logos और visual imagery होती है। जिन्हें की आसानी से Exhibitions, Trade shows और conferences में लोगों के सामने प्रस्तुत किया जा सके।
Portability
Pen Drive इतनी Lightweight और micro है कि इसे कहीं भी आराम से ले जा सकता है।
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Pen Drive बहुत से material जैसे कि plastic, metal आदि से बनी होती है और यह हल्की होती है।
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पेनड्राइव की लंबाई 1 सेंटीमीटर से 6 सेंटीमीटर तक होती है।
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इसकी capacity 512mb से 128GB तक होती है।
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पेन ड्राइव को पावर USB Port से मिलती है।
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इसकी thickness 1 सेंटीमीटर से 3 सेंटीमीटर तक होती है।
पेन ड्राइव क्या है? पेन ड्राइव के उपयोग
Pen drive और यूएसबी फ्लैश ड्राइव ने IT World में राज किया है, क्योंकि इनमें कुछ बेहतरीन फीचर्स हैं। Pen Drive ने पूरी तरह से conventional स्टोरेज डिवाइस को रिप्लेस कर दिया है। जिन्हें कि पहले Data Storage Medium के हिसाब से इस्तेमाल किया जाता था। हम आपको पेन ड्राइव के कुछ उपयोग के बारे में बताने वाले हैं।
पेन ड्राइव का उपयोग फाइल डेटा को ट्रांसफर करने के लिए किया जाता है। इससे आप डाटा को एक कंप्यूटर से दूसरे कंप्यूटर पर ट्रांसफर कर सकते हैं। यह डाटा को बहुत ही जल्दी ट्रांसफर कर देता है जिससे आप के समय की बचत होती है।
पेन ड्राइव का इस्तेमाल कैसे करें?
पेन ड्राइव को इस्तेमाल करना बहुत ही ज्यादा सरल है। जब कभी भी आप अपने कंप्यूटर में कोई काम करें और इस काम को सेव करके दूसरी जगह ले जाना हो तो आप इस तरीके से अपने डाटा को अपनी पेन ड्राइव में सेव करके इसका इस्तेमाल कर सकते हैं।
- आपको अपनी पेन ड्राइव को अपने कंप्यूटर के USB Port में लगाना है। अगर आपके मॉनिटर पर USB Post सुविधा नहीं है तो आप अपने CPU के यूएसबी पोर्ट पर भी पेन ड्राइव लगा सकते हैं। उसके बाद आपके कंप्यूटर पर USB Install हो जाएगा।
- अब आपको अपनी उस फाइल को कॉपी करना है जिसको आप कॉपी करके अपनी पेन ड्राइव में डालना है। अब आप जिस फाइल को पेन ड्राइव में पेस्ट करना चाहते हैं उस फाइल को कॉपी कीजिए।
- अब आपको फाइल मैनेजर में जाकर Pen Drive को ओपन करना है।
- इसके बाद आप पेन ड्राइव में जाकर कॉपी की गई फाइल को पेस्ट कीजिए।
इन सभी स्टेप्स को फॉलो करके आप बहुत ही आसानी से अपने कंप्यूटर से पेन ड्राइव में फाइल का ट्रांसफर कर सकते हैं।
पेन ड्राइव कैसे काम करता है?
टेक्निशियन इन पेनड्राइव को क्लासिफाई करते हैं NOT AND or NAND में इन्हें gate-style डाटा स्टोरेज डिवाइस भी कहा जाता है। इस टेक्नोलॉजी के द्वारा डाटा को Store Block के हिसाब से किया जाता है। यह कंप्यूटर के मेन मेमोरी सिस्टम की तरह डाटा को Store नहीं करता है- जैसे कि रीड ओनली मेमोरी (ROM), रेंडम एक्सेस मेमोरी (RAM) में होता है। डाटा को Randomly स्टोर करने की तुलना में ब्लॉक्स के हिसाब से Store करने पर ज्यादा इंफॉर्मेशन स्टोर हो सकती है और वह भी बहुत ही कम दामों में।
पेन ड्राइव का स्ट्रक्चर और वर्किंग
Drive में प्रिंटेड सर्किट बोर्ड (PCB) होता है। यह सर्किट बोर्ड पेन ड्राइव के स्ट्रक्चर को एक सॉलिड base प्रदान करता है। सर्किट बोर्ड में एक छोटा सा माइक्रोचिप रहता है जो कि पेनड्राइव को data extract करने में मदद करता है। ये सारी प्रोसेस को ऑपरेट होने में लो इलेक्ट्रिक पावर की जरूरत पड़ती है। अगर हम CD-R और Floppy Disk की तुलना करें तब टेक्निकली ये दोनों EEPROM पर Based होती हैं। जो कि कंप्यूटर सिस्टम में राइटिंग और erasure process को एक साथ allow करती हैं।
पेन ड्राइव को भी एक सॉफ्टवेयर प्रोग्राम की जरूरत होती है। जिसकी मदद से यह कंप्यूटर के साथ कनेक्ट हो सकता है और बहुत सारे ऑपरेशन जैसे कि डाटा read, डाटा ट्रांसमिशन और डाटा कॉपी करना कर सकता है। एक उदाहरण के लिए जब आप एक आईफोन को कंप्यूटर के साथ कनेक्ट करते हैं तो हमें यह पता चलता है कि प्रोग्राम और सॉफ्टवेयर जैसे कि iTunes और गूगल प्ले स्टोर हमें एक इंटरफ़ेस प्रदान करता है। डिवाइस को हम सिस्टम के साथ जोड़ते हैं जिससे कि इंफॉर्मेशन का एक्सचेंज हो सके।
पेन ड्राइव के महत्वपूर्ण भाग
- USB Connector
- Controller
- Memory Chips
- Crystal Oscillator
निष्कर्ष
दोस्तों आज के इस आर्टिकल में हमने आपको बताया कि पेन ड्राइव क्या है? हमने आपको पेन ड्राइव से रिलेटेड सभी जानकारियां बहुत ही सरल भाषा में प्रदान की। आशा है कि आपको हमारा यह आर्टिकल पसंद आया होगा। अगर आप हमारा आर्टिकल पसंद आया हो तो हमें जरूर बताएं।
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